Defense Shares: लडखड़ाते हुए बाजार में रॉकेट बने डिफेंस शेयर, निवेशकों में जागी उम्मीद
Defense Shares: घरेलू शेयर बाजार में उथल-पुथल के बीच रक्षा क्षेत्र के शेयर अच्छा प्रदर्शन कर रहे हैं। शुक्रवार को सैन्य कारोबार के शेयरों में 3% तक की तेजी आई। इस बीच, इजराइल और ईरान के बीच और भी ज्यादा मतभेद हैं। एस्ट्रा माइक्रोवेव प्रोडक्ट्स, पारस डिफेंस एंड स्पेस टेक्नोलॉजीज, भारत डायनेमिक्स लिमिटेड (BDL), भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड (BEL), हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL) और डीसीएक्स सिस्टम्स के शेयरों में शुक्रवार को 3% तक की तेजी देखी गई।

Paras Defence के शेयरों में करीब 3% की हुई तेजी
शुक्रवार को पारस डिफेंस एंड स्पेस टेक्नोलॉजीज लिमिटेड (Paras Defence and Space Technologies Limited) का शेयर बीएसई पर 3% से ज्यादा बढ़कर 1639.70 रुपये पर पहुंच गया। पारस डिफेंस के शेयरों का भी वितरण किया जाएगा। इस सैन्य और एयरोस्पेस कारोबार द्वारा शेयर विभाजन की रिकॉर्ड तिथि 4 जुलाई, 2025 तय की गई है। सैन्य कंपनी के शेयरों के दो हिस्से बांटे जा रहे हैं। पारस डिफेंस द्वारा 10 रुपये अंकित मूल्य वाले शेयर को 5 रुपये अंकित मूल्य वाले दो शेयरों में बांटा जा रहा है।
Hindustan Aeronautics के शेयर 5075 रुपये पर पहुंच गए
शुक्रवार को बीएसई पर हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL) के शेयर 2% से अधिक बढ़कर 5075.80 रुपये पर पहुंच गए। शुक्रवार को एयरोस्पेस और सैन्य कारोबार भारत डायनेमिक्स लिमिटेड के शेयर करीब 3% बढ़कर 1934.15 रुपये पर पहुंच गए। इसके अलावा, भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड (BEL) के शेयर करीब 2% बढ़कर 397.90 रुपये पर पहुंच गए। शुक्रवार को एस्ट्रा माइक्रोवेब प्रोडक्ट्स लिमिटेड के शेयर 3% से अधिक बढ़कर 1175 रुपये पर पहुंच गए। डीसीएक्स सिस्टम्स लिमिटेड के शेयर भी इसी समय 3% से अधिक बढ़कर 301.50 रुपये पर पहुंच गए।
रक्षा उद्योग के लिए दृष्टिकोण
बुधवार को रक्षा सचिव राजेश कुमार सिंह ने कहा कि अनुमान है कि वित्त वर्ष 2026 में लगभग 2 ट्रिलियन (2 लाख करोड़ रुपये) के अनुबंधों पर हस्ताक्षर किए जाएंगे। वित्त वर्ष 2025 में 2.09 ट्रिलियन रुपये के रिकॉर्ड अनुबंध मूल्य की बराबरी वित्त वर्ष 2026 में होने वाले अनुबंधों से हो सकती है। वित्त वर्ष 2025 में हस्ताक्षरित 193 अनुबंधों में से 92 प्रतिशत भारतीय व्यवसायों को मिले। परिणामस्वरूप, अनुमान है कि वित्त वर्ष 2026 में अधिकांश अनुबंध भारतीय व्यवसायों को मिलेंगे। इसके अलावा, भारतीय सेना के लिए भी उल्लेखनीय वृद्धि की उम्मीद है। रक्षा मंत्रालय द्वारा 30,000 करोड़ रुपये की लागत से स्वदेशी क्विक रिएक्शन सरफेस-टू-एयर मिसाइल (QRSAM) प्रणाली खरीदने के प्रस्ताव को जल्द ही मंजूरी दी जा सकती है।